उत्तर प्रदेशराज्य

महगाई की मार अब पशुओ को भी

स्वतंत्रदेश,लखनऊ:महंगाई का असर सिर्फ हमारी रसोई तक सीमित नहीं रह गया है, बल्कि दुधारू पशु का चारा भी इससे अछूता नहीं है। दुधारु पशुओं के आहार भूसे की बात करें तो इसके दाम दो गुणा बढ़ गए हैं। पिछले साल भूसा 400 रुपये प्रति क्विंटल था, जो अब 800 रुपये तक पहुंच गया है। इससे पशु पालकों के उन्हें पालना मुश्किल होता जा रहा है। सबसे ज्यादा दिक्कत उन गोशालाओं को रही है, जहां लोगों के सहयोग से पशुओं का पालन-पोषण किया जाता है। जिले में सरकारी स्तर पर गोशालाओं का निर्माण किया जा रहा है।

महंगाई का असर सिर्फ हमारी रसोई तक सीमित नहीं रह गया है बल्कि दुधारू पशु का चारा भी इससे अछूता नहीं है। 

इसके इतर प्राइवेट तौर पर भी गोशालाएं चल रही हैं। शासन के आदेश पर शाहबाद तहसील क्षेत्र में दो गोशालाओं का निर्माण किया गया है। इनमें एक ढकिया चौकी क्षेत्र के धारमपुर गांव में बनी है। इस अस्थायी गोशाला की क्षमता 80 पशुओं की है। इसके अलावा शाहबाद के ही गांव किरा में बने वृहद गोसंरक्षण केंद्र बना है। इसकी क्षमता 240 पशुओं को रखने की है। प्रदेश सरकार की ओर से गोशाला संचालक को प्रति पशु रोजाना 30 रुपये देखभाल के लिए दिए जाते हैं। चारे आदि के बढ़ते दामों को देख यह धनराशि बहुत कम है।

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