उत्तर प्रदेशलखनऊ

विरासत को बर्बाद करता जल संस्थान

स्वतंत्रदेश,लखनऊ:लखनऊ की विरासत और पहचान पक्का पुल जल संस्थान की लापरवाही के कारण कमजोर हो रहा है। विरासत को जल संस्थान बर्बाद कर रहा है। दरअसल, 109 साल पुराना पक्का पुल पर लगातार पानी का रिसाव जारी है। इसको लेकर अब लोक निर्माण विभाग की तरफ से भी जल संस्थान को पत्र लिखा गया है। इसमें पुल पर पानी के लीकेज को जल्द बंद करने को कहा गया है।

पुल के नीचे जांच टीम के सदस्य तकनीकी मुद्दों पर चर्चा करते हुए।

विभाग के एक्सईएन मनीष वर्मा ने इसको लेकर पत्र लिखा है। उन्होंने उसमें बताया है कि पुल से गुजरने वाले पानी के पाइप लाइन में कई जगह पर लीकेज है। इसकी वजह से लगातार पानी की रिसाव होते रहता है। यह पानी पुल को नुकसान पहुंचा रहा है। ऐसे में जल्द से जल्द इसको सही किया जाए।पक्का पुल कितना मजबूत है और इसके ऊपर से कितना भारी वाहन गुजरना चाहिए इसकी जांच तेज हो गई है। इसको लेकर पुल के ऊपर से 18 दिसंबर की शाम तक ट्रैफिक बदला रहेगा। गाजियाबाद की एक निजी कंपनी के अलावा आईआईटी और रुड़की के इंजीनियर अलग-अगल चार तकनीक से जांच पुल की जांच करने में जुट गए है।

जांच टीम में शामिल कमलेश उपाध्याय का कहना है कि चार अलग – अलग तकनीक से जांच की जाएगी। इसमें लोड टेस्ट, कोर टेस्ट, कैपो टेस्ट और यूपीएवी तकनीक शामिल है। इससे पुल के हर एक पहलू पर नजर रखी जाएगी। जांच के लिए पुल के नीचे तीन प्रिज्म लगाए गए हैं। इसके माध्यम से एक मशीनें से पुल पर पड़ने वाला दबाव को रिकार्ड किया जाएगा।

कोर टेस्ट में ग्रांइडर से होल किया गया। इसमें यह देखा जा रहा है कि पुल के निर्माण में प्रयोग होने सामान अभी कितना ठीक है। इसके अलावा कैपो टेस्ट में नीचे की साइड में दीवार से होल काटा जाएगा और देखा जाएगा कि साइड की ओर पुल कितना मजबूत है। 

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