एक मोबाइल नंबर से 60 फर्में बनाकर टैक्स चोरी
स्वतंत्रदेश ,लखनऊलखनऊ के पते पर पंजीकृत मुख्य फर्म के मोबाइल नंबर से देशभर में 60 फर्मों का पंजीकरण कराकर टैक्स चोरी की गई। राज्य कर विभाग ने लोहे के कारोबार में संगठित रूप से हो रही इस टैक्स चोरी के रैकेट का भंडाफोड़ किया है।विभाग की मुरादाबाद इकाई की कार्रवाई में लखनऊ स्थित फर्म का मुख्यालय भी दूसरे के बिजली बिल पर पंजीकृत मिला। फर्म के जरिये अरबों की टैक्स चोरी की आशंका है। अब राज्य कर विभाग और केंद्रीय जीएसटी विभाग इन फर्मों के मकड़जाल को सुलझाने में जुटा है।जांच में सामने आया है कि लखनऊ में राजाजीपुरम के पते पर पंजीकृत एके इंटरप्राइजेज फर्म के एक ही मोबाइल नंबर पर देशभर में 60 फर्मों का पंजीकरण कराया गया। इनमें उत्तराखंड, महाराष्ट्र, कर्नाटक और जम्मू-कश्मीर तक की फर्मे शामिल हैं।

यूपी में यह फर्म कानपुर, लखनऊ, नोएडा, वाराणसी और प्रयागराज में पंजीकृत पाई गई। यह रैकेट लोहे के कारोबार में फर्जी बिलिंग और बोगस सप्लाई के जरिये अरबों रुपये की कर चोरी कर रहा था। फर्म का पंजीकरण निलंबित कर दिया गया है।
ऐसे हुआ खुलासा: मुरादाबाद जोन के एडिशनल कमिश्नर (ग्रेड-2) एसआईबी आरए सेठ के निर्देशन में हुई कार्रवाई के दौरान 23 व 24 अक्तूबर को मुरादाबाद में रोड चेकिंग के दौरान दो ट्रक पकड़े गए। इनमें लोहा लदा था जो एके इंटरप्राइजेज लखनऊ से सौरभ इंटरप्राइजेज मुजफ्फरनगर को भेजा जा रहा था। जांच में पाया गया कि भेजने और प्राप्त करने वाली फमें अस्तित्व में ही नहीं हैं। फर्म के पंजीकृत मोबाइल नंबर (7678311461) की जांच में सामने आया कि यही नंबर देशभर में करीब 60 अलग-अलग फर्मों के जीएसटी पंजीकरण में इस्तेमाल किया गया है। फर्म का पता लखनऊ का राजाजीपुरम दिया गया है लेकिन मौके पर यह मकान निकला। मकान मालिक श्रीनिवास श्रीवास्तव ने कहा कि उन्होंने किसी को व्यावसायिक उपयोग के लिए जगह किराये पर नहीं दी और न ही किसी को अपने दस्तावेज देने की अनुमति दी थी। एडीशनल कमिश्नर ग्रेड -1 अशोक कुमार सिंह का कहना है कि लोहे के कारोबार में टैक्स चोरी के ऐसे रैकेट पर लगातार सख्ती बरती जा रही है। दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जा रही है।



