यूपी के क्षतिग्रस्त 83 पुलों की दोबारा होगी जांच
स्वतंत्रदेश,लखनऊप्रदेश के क्षतिग्रस्त 83 पुलों की दोबारा जांच की जाएगी। लोक निर्माण विभाग (लोनिवि) ने सभी जोनों के मुख्य अभियंताओं या उससे ऊपर के अधिकारियों को जांच की जिम्मेदारी सौंपी है। इससे पहले लोनिवि ने 50 वर्ष की आयु पूरी कर चुके प्रदेश के 721 पुलों की जांच करवाई थी, इनमें से 83 पुल क्षतिग्रस्त पाए गए थे। सर्वाधिक क्षतिग्रस्त 10 पुल कानपुर क्षेत्र में पाए गए थे।
बिहार में लगातार पुलों के गिरने की घटना के बाद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लोनिवि को निर्देश दिए थे कि प्रदेश में 50 वर्ष की आयु पूरी कर चुके सभी पुलों की जांच की जाए। उन्होंने निर्देश दिए थे कि जल्द से जल्द प्रदेश के पुलों की जांच करके असुरक्षित पुलों की सूची तैयार कर वहां पर नागरिकों की सुरक्षा के लिए यातायात बंद किया जाए।
लोनिवि ने प्रदेश के 721 पुलों की जांच की थी, जिनमें 83 पुल क्षतिग्रस्त मिले थे। इसकी रिपोर्ट शासन को भेजी गई थी। अब शासन के निर्देश पर लोनिवि ने सभी जोनों से कहा है कि जिन 83 क्षतिग्रस्त पुलों की सूची तैयार की गई है, उनकी जांच मुख्य अभियंता या उससे ऊपर से अधिकारी करें।
इस बारे में लोनिवि के प्रमुख अभियंता (विकास) एवं विभागाध्यक्ष जेके बांगा ने बताया कि जिन क्षेत्रों में क्षतिग्रस्त पुल मिले हैं, वहां के मुख्य अभियंताओं को दोबारा पुलों की जांच के निर्देश दिए गए हैं। साथ ही कहा गया है कि वह अपनी रिपोर्ट में यह भी बताएं कि कौन-कौन से पुल मरम्मत के बाद सही हो सकते हैं और कौन-कौन से पुलों को तोड़कर नए पुल बनाने होंगे।
कानपुर, सहारनपुर व उन्नाव में हैं सबसे ज्यादा क्षतिग्रस्त पुल
क्षतिग्रस्त पुलों में सर्वाधिक कानपुर के 10 व सहारनपुर के छह तथा उन्नाव के चार पुलिस शामिल हैं। वहीं झांसी, सीतापुर, गाजीपुर, सोनभद्र व अमेठी तथा मैनपुरी के तीन-तीन। प्रयागराज, आजमगढ़, खीरी, हरदोई, जालौन व सुल्तानपुर तथा लखनऊ के दो-दो पुल जर्जर अवस्था में मिले थे।