उत्तर प्रदेशराज्य

बिना लखनऊ आए पहुंचे कानपुर से अयोध्या, आउटर रिंग रोड को किया गया कनेक्ट

स्वतंत्रदेश ,लखनऊअगर आप कानपुर से अयोध्या जाना चाहते हैं तो लखनऊ शहर में कैंट, शहीद पथ और गोमतीनगर की व्यस्त सड़कों पर जाम में फंसने की जरूरत नहीं है। कानपुर से लखनऊ आते समय जहां पर 18वें किमी. का माइल स्टोन दिखे वहीं से इंटर सेक्शन के जरिए दाहिने तरफ मुड़कर सुलतानपुर हाई वे को छोड़ते हुए अयोध्या रोड पर बीबीडी के पास उतर जाएं।अगर सीतापुर रोड से अयोध्या, वाराणसी या कानपुर जाना है तो बख्शी का तालाब के पास आउटर रिंग रोड को कनेक्ट किया गया है। यहां बीकेटी से रिंग रोड पर चढ़ सकते हैं। यह सड़क कुर्सी रोड व देवा रोड को क्रास करते हुए अयोध्या रोड से कनेक्ट हो जाएगी। हरदोई की तरफ से आ रहे वाहनों को भी शहर के भीतर आने की जरूरत नहीं है।

आउटर रिंग रोड को किया गया कनेक्ट

हरदोई से आते समय काकोरी शहीद स्मारक के पास रिंग रोड इंटर सेक्शन प्वाइंट आएगा, जहां से बाएं मुड़कर बीकेटी से रिंग रोड पर चढ़ सकते हैं। आगरा एक्सप्रेस वे से भी आउटर रिंग रोड को कनेक्ट किया गया है। यात्रियों का सफर आसान हो इसके लिए बेहटा से स्लिप रोड के जरिए जोड़ा गया है।

 105 किलोमीटर की आउटर रिंग रोड के शुरू होने से। आउटर रिंग रोड के शुभारंभ के बाद बाहर से आने वाले वाहनों को अपने गंतव्य तक जाने के लिए लखनऊ शहर के भीतर आने की जरूरत नहीं है। केंद्र और राज्य सरकार के संयुक्त प्रयासों से बनी आउटर रिंग रोड ने वाकई राजधानी को जाम से बड़ी राहत दी है।

अगले साल जुलाई तक कानपुर एक्सप्रेस वे पर भरिए फर्राटा

लखनऊ से कानपुर के बीच बन रहा एक्सप्रेस वे जुलाई 2025 तक तैयार हो जाएगा। एक्सप्रेस वे बन जाने से लखनऊ और कानपुर के बीच सफर में लगने वाला समय भी कम होगा। एक्सप्रेस वे का करीब पचास फीसद काम पूरा हो चुका है। परियोजना निदेशक सौरभ चौरसिया का कहना है कि काम पूरा करने का निर्धारित समय अगस्त 2025 है लेकिन इससे पहले ही 63 किमी. के एक्सप्रेस वे को तैयार करने का प्रयास किया जा रहा है।

मौजूदा समय में चार लेन पहले से ही राष्ट्रीय राजमार्ग चल रहा है और फिर एक्सप्रेस वे छह लेन का होगा। कुल मिलाकर दस लेन हो जाएगी। एक्सप्रेस वे लखनऊ के 11 और उन्नाव के 32 गांवों से गुजरेगा वहां पर विकास की संभावनाएं तेजी से बढ़ रही हैं।

एलीवेटेड को पांच सेक्शन में बांटकर चल रहा काम

सेक्शन एक : सरोजनी नगर से गौरी, सेक्शन दो : दारोगा खेड़ा से बंथरा, सेक्शन तीन : बंथरा से खंडदेव, सेक्शन चार : खंडदेव से कटिबगिया, सेक्शन पांच : कटिबगिया से बनी साई नदी।

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