डिफेंस कॉरिडोर व इंटीग्रेटेड क्लस्टर की होगी पर्यावरण निगरानी
स्वतंत्रदेश,लखनऊउत्तर प्रदेश में डिफेंस कॉरिडोर और औद्योगिक क्षेत्रों के विकास के साथ-साथ पर्यावरण संबंधी पहलुओं की निगरानी पर भी विशेष ध्यान दिया जा रहा है। उत्तर प्रदेश एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (यूपीडा) ने इन क्षेत्रों में पर्यावरणीय मानकों का पालन सुनिश्चित कराने के लिए एक नई व्यवस्था लागू की है। इसके तहत इन क्षेत्रों की हर छह महीने में पर्यावरण अनुपालन रिपोर्ट तैयार की जाएगी। ये रिपोर्ट प्रमाणित प्रयोगशालाओं द्वारा तैयार की जाएंगी।ये प्रयोगशालाएं न केवल पर्यावरणीय मापदंडों की निगरानी करेंगी, बल्कि रिपोर्ट तैयार कर उसे ऑनलाइन अपलोड भी करेंगी। यह पहल डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर और इंडस्ट्रियल मैन्युफैक्चरिंग व लॉजिस्टिक्स क्लस्टर (आईएमएलसी) की परियोजनाओं के लिए लागू की गई है। यूपीडा के मुताबिक, पर्यावरणीय मंजूरी प्राप्त स्थानों पर यह प्रक्रिया जल्द ही शुरु कर दी जाएगी।यूपीडा ने जिन जिलों में पर्यावरणीय मंजूरी प्राप्त की है, उनमें अलीगढ़, कानपुर नगर, लखनऊ, चित्रकूट और झांसी शामिल हैं। इन जिलों में डिफेंस इंडस्ट्रियल कॉरिडोर के लिए भूमि अधिग्रहण और विकास कार्य जारी हैं। अब इन स्थानों पर पर्यावरण की स्थिति की नियमित निगरानी की जाएगी।

अंतिम चरण में पर्यावरण मंजूरी की प्रक्रिया…
प्रत्येक छह महीने में लैब्स द्वारा सैंपलिंग, फील्ड निरीक्षण और संबंधित अधिकारियों से सूचना एकत्रित कर रिपोर्ट तैयार की जाएगी। इस रिपोर्ट में वायु, जल, ध्वनि, मिट्टी जैसे प्रमुख पर्यावरणीय घटकों की स्थिति का ब्योरा होगा। इन जिलों के अलावा, आगरा और उन्नाव के लिए पर्यावरण मंजूरी की प्रक्रिया अंतिम चरण में है।