नेशनल पीजी कॉलेज के छात्र अब ड्रोन उड़ाना भी सीखेंगे
स्वतंत्रदेश ,लखनऊनेशनल पीजी कॉलेज में पढ़ने वाले छात्र-छात्राएं ड्रोन बनाने की तकनीक को जानेंगे। इसके साथ ही छात्र उसे उड़ाना भी सीखेंगे। इसके लिए फिजिक्स एंड इलेक्ट्रॉनिक विभाग, कम्प्यूटर विभाग के सहयोग से नेशनल पीजी कॉलेज में ड्रोन लैब स्थापित की जाएगी.लैब बनाने की तैयारी शुरू कर दी गई है। छात्र-छात्राओं को नए सत्र से यह सुविधा देने की योजना है। प्राचार्य प्रो. देवेंद्र कुमार सिंह ने बताया कि ड्रोन का इस्तेमाल आजकल हर जगह दिख रहा है। नॉर्मल शूट हो या फिर सरकारी योजनाएं, हर कोई रोबोटिक्स, एआई और ड्रोन फील्ड की ओर जा रहा है।

ड्रोन बाजार की इकोनॉमी हो सकती है 2.5 ट्रिलियन
इसके अलावा उन्होंने कहा कि जिस स्तर से इस क्षेत्र में काम हो रहा है उस आधार पर वर्ष 2030 तक ड्रोन बाजार की इकोनॉमी 2.5 ट्रिलियन तक हो सकती है। ड्रोन बनाने और इसकी लर्निंग से ड्रोन पायलट ऑपरेटर, ड्रोन इंजीनियर, ड्रोन डाटा एनालाइजर, ड्रोन सॉफ्टवेयर डेवलपर, ड्रोन इंस्ट्रक्टर ट्रेनर, ड्रोन रेगुलेशन एंड पॉलिसी एक्सपर्ट, ड्रोन मेंटेनेंस एंड रिपेयर आदि विभिन्न क्षेत्रों में करियर बनाने के अवसर मिलते हैं।इसको ध्यान में रखते हुए फिजिक्स एंड इलेक्ट्रॉनिक विभाग की अध्यक्ष डॉ. अपर्णा सिंह के निर्देशन में छात्र-छात्राओं के लिए ड्रोन लैब स्थापित करने की योजना है।नेशनल पीजी कॉलेज में अभी रोबोटिक्स एंड एआइ सर्टिफिकेट कोर्स चलता है। इसमें रोबोटिक्स एवं एआइ लैब भी स्थापित किए गए हैं, जिसमें नए कम्पोनेंट भी खरीदे जा रहे हैं। फिजिक्स एंड इलेक्ट्रानिक विभाग के असिस्टेंट प्रोफेसर डॉ. अभिषेक मिश्रा ने बताया कि अब कालेज में रोबोटिक्स क्लब भी बनेगा।